क्या होता है सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड और क्या हैं इसके फायदे, रेग्युलर कार्ड से ये कैसे अलग है? यहां जानिए काम की बात
जिन लोगों का क्रेडिट स्कोर खराब है या क्रेडिट हिस्ट्री ही नहीं है या फिर किसी अन्य कारण से जिनके आवेदन को रिजेक्ट कर दिया गया है, ऐसे लोगों के लिए सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड बेहतर विकल्प हो सकता है. जानिए इसके फायदे.
क्या होता है सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड और क्या हैं इसके फायदे, रेग्युलर कार्ड से ये कैसे अलग है? यहां जानिए काम की बात
क्या होता है सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड और क्या हैं इसके फायदे, रेग्युलर कार्ड से ये कैसे अलग है? यहां जानिए काम की बात
पिछले कुछ समय में क्रेडिट कार्ड यूजर बहुत तेजी से बढ़े हैं. इसकी एक बड़ी वजह है कि क्रेडिट कार्ड मुश्किल समय में आपके पैसों की जरूरत को पूरा कर देता है. क्रेडिट कार्ड के जरिए कर्ज के तौर पर आप जो भी राशि खर्च करते हैं, अगर आप उस राशि को ग्रेस पीरियड में ही वापस कर देते हैं, तो आपको कोई ब्याज नहीं देना पड़ता. सिर्फ खर्च की गई रकम का भुगतान करना पड़ता है. इसके अलावा क्रेडिट कार्ड्स पर कई अच्छे ऑफर्स और डिस्काउंट्स भी मिल जाते हैं.
लेकिन जिन लोगों का क्रेडिट स्कोर खराब है या क्रेडिट हिस्ट्री ही नहीं है या फिर किसी अन्य कारण से जिनके आवेदन को रिजेक्ट कर दिया गया है, ऐसे लोग क्या करें? तो बता दें कि ऐसे लोगों को सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड का विकल्प मिल सकता है. यहां जानिए क्या है सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड और से इसके फायदे, रेग्युलर कार्ड से ये कैसे अलग है.
रेग्युलर क्रेडिट कार्ड
सामान्य या रेग्युलर क्रेडिट कार्ड जिन्हें आमतौर पर लोग इस्तेमाल करते हैं, वे अनसिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड होते हैं. अनसिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड के लिए कोई फिक्स्ड डिपॉज़िट (FD) या कोलैटरल जमा नहीं कराना होता है. अगर आपकी इनकम अच्छी-खासी है, क्रेडिट स्कोर अच्छा है, रीपेमेंट हिस्ट्री ठीक है, तो आपको क्रेडिट कार्ड आसानी से मिल जाता है. ज्यादातर सैलरीड लोगों को ये कार्ड उस बैंक की तरफ से ही ऑफर कर दिया जाता है, जिसमें उनका अकाउंट होता है. इन कार्ड्स पर कस्टमर्स कई तरह के रिवॉर्ड और कैशबैक भी प्राप्त कर सकते हैं. ज्यादातर लोग इसी कार्ड का ही इस्तेमाल करते हैं.
सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड
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सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड उन लोगों के लिए बेहतर विकल्प है, जिनके क्रेडिट कार्ड की रिक्वेस्ट को किसी कारण से बैंक रिजेक्ट कर देती हैं. जैसा कि सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड के नाम से ही स्पष्ट है कि ये कोलैटरल जमा के बदले में मिलने वाला कार्ड होता है. ये कार्ड फिक्स्ड डिपॉजिट के बदले में दिया जाता है. ज्यादातर सिक्योर्ड कार्ड की लिमिट एफडी के 85 फीसदी तक रखी जाती है.जब तक कस्टमर्स की एफडी बैंक में रहती है, वो इस क्रेडिट कार्ड को इस्तेमाल कर सकता है. लेकिन अगर सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड यूजर की तरफ से किसी भी कारण से क्रेडिट कार्ड बिल का पेमेंट निश्चित समय तक नहीं किया गया, तो बैंक के पास उसके फिक्स्ड डिपॉजिट अकाउंट को भुनाकर अपना कर्ज वसूल करने का अधिकार होता है.
सिक्योर्ड क्रेडिट कार्ड के फायदे
- समय पर बिल पेमेंट करके इसके जरिए आप अपने क्रेडिट स्कोर को बेहतर कर सकते हैं. जिससे भविष्य में लोन की संभावना को बेहतर किया जा सकता है.
- रेग्युलर क्रेडिट कार्ड की तुलना में इसकी ब्याज दरें कम होती हैं क्योंकि ये एफडी के बदले में दिया जाता है.
- कोलैटरल डिपॉजिट के बदले में मिलने के कारण इसका अप्रूवल लेना आसान होता है. इसके लिए कोई एक्सट्रा चार्ज नहीं देना पड़ता.
- एफडी पर क्रेडिट कार्ड लेने से कार्ड होल्डर को फिक्स्ड डिपॉजिट अकाउंट पर ब्याज प्राप्त करने के साथ-साथ बिना किसी एक्स्ट्रा खर्च के अपना क्रेडिट लिमिट बढ़ाने का विकल्प मिल जाता है.
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04:23 PM IST